लंबे स्‍पेस ट्रैवल का सुनीता विलियम्स जैसे अंतरिक्षयात्रियों पर पड़ता है गहरा शारीरिक और मानसिक असर

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अंतरिक्ष में लंबे समय तक रहने का मानव शरीर पर गहरा प्रभाव पड़ता है। यह प्रभाव शारीरिक और मानसिक दोनों स्तरों पर होता है। नासा और अन्य अंतरिक्ष एजेंसियों के अध्ययनों के अनुसार, अंतरिक्ष में रहने वाले अंतरिक्षयात्रियों को कई चुनौतियों का सामना करना पड़ता है। यहां हम इन प्रभावों को विस्तार से समझेंगे। करीब 9 माह अंतरिक्ष में बिताने के बाद धरती पर वापस लौटी सुनीता विलियम्स जैसे अंतरिक्षयात्रियों के लिए पृथ्वी पर वापस आने के बाद की स्थितियों को समझने का प्रयास करेंगे।

शारीरिक प्रभाव : अंतरिक्ष में गुरुत्वाकर्षण का अभाव होता है, जिसके कारण शरीर पर कई प्रभाव पड़ते हैं। इनमें से एक है मांसपेशियों और हड्डियों का कमजोर होना (Muscle Atrophy and Bone Loss)। पृथ्वी पर गुरुत्वाकर्षण के कारण हमारी मांसपेशियों और हड्डियों पर लगातार दबाव पड़ता है, जिससे वे मजबूत बनी रहती हैं।

अंतरिक्ष में गुरुत्वाकर्षण के अभाव में मांसपेशियां और हड्डियां कमजोर होने लगती हैं। हड्डियों का घनत्व (Bone Density) कम हो जाता है, जिससे ऑस्टियोपोरोसिस जैसी समस्याएं हो सकती हैं।

नासा के अनुसार, अंतरिक्षयात्री प्रति माह लगभग 1-2% हड्डी का घनत्व खो देते हैं।

दूसरा अहम प्रभाव रक्त परिसंचरण और हृदय पर होने वाला प्रभाव (Cardiovascular Changes) है। अंतरिक्ष में रक्त शरीर के ऊपरी हिस्से की ओर बढ़ जाता है, जिससे चेहरा सूजा हुआ दिखाई देता है और पैरों में रक्त का प्रवाह कम हो जाता है। हृदय को कम काम करना पड़ता है, जिससे यह कमजोर हो सकता है। इससे पृथ्वी पर वापस आने के बाद हृदय संबंधी समस्याएं हो सकती हैं।

अंतरिक्ष में प्रतिरक्षा प्रणाली कमजोर (Weakened Immune System) हो जाती है, जिससे संक्रमण का खतरा बढ़ जाता है।

कुछ अंतरिक्षयात्रियों को आंखों में सूजन और दृष्टि संबंधी समस्याएं (Vision Changes) होती हैं। इसे Spaceflight-Associated Neuro-Ocular Syndrome” (SANS) कहा जाता है।

शरीर का तरल पदार्थों का पुनर्वितरण (Fluid Redistribution) बदल जाता है। अंतरिक्ष में शरीर के तरल पदार्थ ऊपरी हिस्से की ओर बढ़ जाते हैं, जिससे सिरदर्द और आंखों पर दबाव जैसी समस्याएं हो सकती हैं।

मानसिक प्रभाव: अंतरिक्ष में रहने का मानसिक स्वास्थ्य पर भी प्रभाव पड़ता है:

अंतरिक्षयात्री लंबे समय तक पृथ्वी से दूर रहते हैं, जिससे अकेलापन और तनाव (Isolation and Stress) हो सकता है। सीमित स्थान और लगातार काम का दबाव भी मानसिक स्वास्थ्य को प्रभावित करता है।

अंतरिक्षयात्री को नींद की समस्याएं (Sleep Disorders) हो सकती हैं। अंतरिक्ष में उनका नींद का चक्र बिगड़ सकता है क्योंकि वहां दिन और रात का चक्र पृथ्वी जैसा नहीं होता।

पृथ्वी पर वापस आने के बाद की चुनौतियां:

अंतरिक्ष से पृथ्वी पर वापस आने के बाद अंतरिक्षयात्रियों को कई चुनौतियों का सामना करना पड़ता है।

शारीरिक समायोजन (Physical Recovery)

हड्डियों और मांसपेशियों को फिर से मजबूत बनाने के लिए फिजियोथेरेपी और व्यायाम की आवश्यकता होती है। हृदय और रक्त परिसंचरण को सामान्य होने में कुछ समय लगता है। आंखों और दृष्टि संबंधी समस्याएं कुछ हफ्तों से लेकर महीनों तक बनी रह सकती हैं।

मानसिक समायोजन (Mental Recovery)

पृथ्वी पर वापस आने के बाद अंतरिक्षयात्रियों को सामाजिक और पारिवारिक जीवन में ढलने में समय लग सकता है। कुछ अंतरिक्षयात्रियों को PTSD (Post-Traumatic Stress Disorder) जैसी समस्याएं हो सकती हैं।

सुनीता विलियम्स को सामान्‍य होने में कितना समय लगेगा

सुनीता विलियम्स ने लंबे समय तक अंतरिक्ष में बिताया है। उन्हें पृथ्वी पर वापस आने के बाद पूरी तरह से ठीक होने में कुछ महीनों से लेकर एक साल तक का समय लग सकता है। हालांकि, अधिकांश अंतरिक्षयात्री समय के साथ पूरी तरह से ठीक हो जाते हैं और सामान्य जीवन जी सकते हैं। लेकिन कुछ मामलों में लंबे समय तक स्वास्थ्य समस्याएं बनी रह सकती हैं, जैसे हड्डियों का घनत्व कम होना या दृष्टि संबंधी समस्याएं।

क्या ये बदलाव स्थाई होते हैं?

कुछ बदलाव अस्थाई होते हैं, जैसे मांसपेशियों की कमजोरी और रक्त परिसंचरण की समस्याएं। ये समय और उचित देखभाल के साथ ठीक हो जाते हैं। हालांकि, कुछ बदलाव स्थाई हो सकते हैं, जैसे हड्डियों का घनत्व कम होना या आंखों की समस्याएं। इन्हें पूरी तरह से ठीक करना मुश्किल हो सकता है।

भविष्य की चुनौतियां

मंगल जैसे लंबे मिशनों पर जाने के लिए वैज्ञानिक इन समस्याओं का समाधान ढूंढ रहे हैं। इसमें कृत्रिम गुरुत्वाकर्षण, उन्नत व्यायाम उपकरण और बेहतर चिकित्सा देखभाल शामिल हैं।

अंतरिक्ष अन्वेषण के लिए चुनौतियों का समाधान ढूंढना महत्वपूर्ण

अंतरिक्ष में लंबे समय तक रहने का मानव शरीर पर गहरा प्रभाव पड़ता है। हालांकि, सुनीता विलियम्स जैसे अंतरिक्षयात्री पृथ्वी पर वापस आने के बाद समय और उचित देखभाल के साथ सामान्य जीवन जी सकते हैं। फिर भी, कुछ स्वास्थ्य समस्याएं लंबे समय तक बनी रह सकती हैं। भविष्य में इन चुनौतियों का समाधान ढूंढना अंतरिक्ष अन्वेषण के लिए महत्वपूर्ण होगा।